पटना/नई दिल्ली। आरएलएसपी प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा ने मंत्री पद से इस्तीफा और एनडीए से गठबंधन तोड़ने की घोषणा कर दी है। वह अब एनडीए के गठबंधन दल में नहीं है। कुशवाहा ने पीएम मोदी समेत बीजेपी नेताओं और नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि यह सभी जनता को ठगने का काम कर रही है और मेरी पार्टी को तोड़ने का काम कर रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि बीजेपी केवल आरएसएस के एजेंडे पर काम कर रही है।
उन्होंने कहा, पीएम मोदी ने बिहार के विकास के लिए काफी आश्वासन दिया था और हमें भरोसा दिलाया था कि बिहार के अच्छे दिन आएंगे। स्पेशल पैकेज की बात की गई लेकिन कुछ भी उसके लिए नहीं किया गया। बिहार के विकास को ध्यान में रखते हुए कुछ भी नहीं किया गया है।
उपेंद्र कुवशवाहा ने कहा कि बिहार में शिक्षा व्यवस्था पूरी तरह से चौपट हो गई। हमें आश्वासन या भरोसा दिलाया गया था उसे पूरा करने में मोदी असफल रहे हैं। एनडीए की सरकार आने के बाद जातिय जनगणना करने की बात हुई थी। सरकार बनने के बाद कहा गया कि उसमें कुछ गड़बड़ियां हैं उसे ठीक किया जा रहा है, लेकिन उसे अब तक प्रकाशित नहीं किया गया है। जातिय जनगणना का काम भी अब बंद कर दिया गया है। इस काम में करोड़ों रूपये खर्च किए गए।
पीएम मोदी ने ओबीसी में जो अत्यंत पिछड़े हैं उनकी पहचान कर उसका रिपोर्ट तैयार कराए जाने की बात कही थी, लेकिन रिपोर्ट अब तक पेश नहीं किया गया। सोशल जस्टिस में भी एनडीए ने कोई काम नहीं किया।
वहीं, नीतीश कुमार की सरकार बिहार में किसी भी तरह से सफल नहीं है। 15 सालों से बिहार में सरकार है लेकिन किसी भी क्षेत्र में अच्छा काम नहीं किया गया। लॉ एंड ऑडर्र से लेकर बिहार में शिक्षा व्यवस्था को चौपट कर दिया गया है।
नीतीश कुमार जब से एनडीए में शामिल हुए हैं तब से आरएलएसपी को तोड़ने का काम किया जा रहा है। बिहार विधानसभा में भी आरएलएसपी को जगह नहीं दिया गया। उसी समय से मेरी पार्टी को खत्म करने की कोशिश शुरू हो गई। यही नहीं नीतीश कुमार के साथ बीजेपी खड़ी हो गई और मुझे सामाजिक रूप से और निजी रूप से अपमानित किया गया।
सीट शेयरिंग पर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि मुझे कम सीट देने की बात कही गई। मैंने अधिक सीट की मांग की यहां तक की पिछली सीटों की संख्या पर भी चुनाव लड़ने की बात कही। इस पर भी तैयार नहीं हुए। हम बिहार की जनता के लिए काम कर रहे हैं, लेकिन एनडीए हमें काम करने देना नहीं चाहती है।