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लोकपाल पर अन्ना हजारे की नई जंग, रालेगण में शुरू किया अनशन
By Deshwani | Publish Date: 30/1/2019 12:16:32 PM
लोकपाल पर अन्ना हजारे की नई जंग, रालेगण में शुरू किया अनशन

मुंबई। समाजसेवी अन्ना हजारे ने एक बार फिर भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई तेज कर दी है। आज अपने गांव रालेगण सिद्धि में लोकपाल की मांग को लेकर अन्ना हजारे अनशन पर बैठ गए हैं। इस बीच उन्होंने महाराष्ट्र सरकार में मंत्री गिरिश महाजन को रालेगण सिद्धि आने से मना कर दिया है।  बता दें कि अन्ना हजारे द्धारा अनशन करने के ऐलान के बाद से गिरिश महाजन दो बार रालेगण का दौरा कर चुके हैं।

 
अन्ना ने कहा कि बीजेपी की सरकार चाहे राज्य में हो या केंद्र में, वे बड़ी बातें और झूठे वादे कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस बार अनशन तब तक चलेगा जब तक बीजेपी सरकार लोकपाल की नियुक्ती और स्वामीनाथन कमीशन के सुझाव को लागू नहीं करती।
 
अन्ना के मुताबिक गिरिश महाजन ही वह मंत्री हैं जो पिछले साल 23 मार्च को दिल्ली में मेरा अनशन तुड़वाने आए थे। 9 महीने हो गए लेकिन कुछ नहीं हुआ। प्रधानमंत्री कार्यालय ने लिखित आश्वासन भी दिया लेकिन पालन नहीं हुआ, सिर्फ आंकड़ों पर क्या होगा।
 
अनशन पर बैठने से पहले अन्ना हजारे ने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर निशाना साधा और लोकपाल कानून को लागू ना करने का आरोप लगाया। समाजसेवी अन्ना हजारे ने कहा कि लोकपाल कानून बने 5 साल से अधिक हो गए हैं, लेकिन सत्ता में आने के बाद से ही मोदी सरकार ने इस पर सिर्फ बहानेबाजी की है। उन्होंने ये भी कहा कि नरेंद्र मोदी के दिल में होता तो वह लोकपाल को जरूर लागू करते।
 
अन्ना ने कहा कि मेरा अनशन किसी व्यक्ति, पक्ष या पार्टी के विरोध में नहीं है। समाज और देश की भलाई के लिए मैं ये आंदोलन कर रहा हूं। गौरतलब है कि इससे पहले भी अन्ना हजारे कई मुद्दों पर आंदोलन कर चुके हैं। अन्ना की मांग है कि केंद्र सरकार लोकपाल कानून को लागू करे, साथ ही महाराष्ट्र सरकार लोकायुक्त को लागू करे।
 
अन्ना हजारे इससे पहले भी कई बार बयान दे चुके हैं कि लोकपाल को लेकर उन्होंने कई बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखी थीं, लेकिन एक भी चिट्ठी का पीएम ने जवाब नहीं दिया।
 
आपको बता दें कि अन्ना हजारे के अनशन पर बैठने से पहले ही महाराष्ट्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया। महाराष्ट्र में अब मुख्यमंत्री कार्यालय भी लोकायुक्त के अधिकार में होगा। मंगलवार को मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की अगुवाई में हुई बैठक में इस पर मुहर लगाई गई।
 
इससे पहले 2011-12 में अन्ना हजारे की अगुवाई में ही दिल्ली के रामलीला मैदान में तत्कालीन यूपीए सरकार के खिलाफ बड़ा आंदोलन हुआ था। उस आंदोलन में शामिल रहे कई चेहरे अब देश की राजनीति का अहम हिस्सा हैं। जिसमें से अरविंद केजरीवाल दिल्ली के मुख्यमंत्री बन गए हैं, किरण बेदी पुडुचेरी की राज्यपाल बन चुकी हैं।
 
लोकपाल विधेयक राज्यसभा में 17 दिसंबर, 2013 में पारित हुआ था और लोकसभा में इसे 18 दिसंबर, 2013 को पारित कर दिया गया था। राष्ट्रपति ने एक जनवरी, 2014 को लोकपाल और लोकायुक्त कानून पर अपनी मुहर लगा दी जा चुकी है।
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