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मालदीव ने छोड़ा चीन का दामन, राष्ट्रपति सोलिह पहली ही विदेश यात्रा में आएंगे भारत
By Deshwani | Publish Date: 27/11/2018 12:06:25 PMनई दिल्ली। मालदीव के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति इब्राहीम मोहम्मद सोलिह अपनी पहली विदेश यात्रा के तहत अगले महीने भारत की यात्रा पर आएंगे। सोलिंह की इस यात्रा का उद्देश्य देश के साथ द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूती प्रदान करना है। बता दें कि राष्ट्रपति सोलिह ने 17 नवंबर को शपथ ग्रहण के बाद अपने भाषण में विश्व के कई शक्तिशाली देशों के नामों का जिक्र न करते हुए केवल भारत का नाम लिया था। मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने सोमवार को जानकारी देते हुए बताया कि मालदीव का एक मंत्रिस्तरीय प्रतिनिधिमंडल वर्तमान में भारत की यात्रा पर है।
शाहिद ने कहा कि सोलिह की यात्रा का उद्देश्य भारत के साथ द्विपक्षीय संबंधों को प्रगाढ़ बनाना है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि द्वीपीय देश मालदीव को जब भी जरूरत पड़ी है भारत उसकी सहायता के लिए हमेशा आगे आया है। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17 नवंबर को मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद सोलिह के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए थे। प्रधानमंत्री मोदी इकलौते राष्ट्राध्यक्ष थे, जिन्हें इस शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने के लिए बुलाया गया था। इससे पहले एयरपोर्ट पर उनका स्वागत करने के लिए नई मालदीवी संसद के अध्यक्ष कासिम इब्राहिम के साथ कई वरिष्ठ अधिकारियों ने उनका स्वागत किया था।
मालदीव में हाल में हुए राष्ट्रपति चुनावों के बाद हुए सत्ता परिवर्तन में चीन की उम्मीदों के उलट इब्राहिम मोहम्मद सोलिह को जीत मिली है। चीन के समर्थन वाले अब्दुल्ला यामीन चुनाव हार गए थे। इन परिणामों से चीन इस कदर सकते में आया था कि पहले दो दिन तो वह सोलिह को बधाई भी नहीं दे पाया था। उसके बाद उसने सोलिह को बधाई दी। सोलिह को दुनिया में सबसे पहले बधाई पीएम मोदी ने दी थी। सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस देश के नए मुखिया को पीएम मोदी ने तभी भारत आने का निमंत्रण दे दिया था। इसे उन्होंने स्वीकार भी कर लिया था।