राष्ट्रीय
सुप्रीम कोर्ट के जज के रूप में वरिष्ठ वकील इंदु मल्होत्रा ने ली शपथ
By Deshwani | Publish Date: 27/4/2018 11:41:04 AMनई दिल्ली। वरिष्ठ वकील इंदु मल्होत्रा ने आज उच्चतम न्यायालय के जज के रूप में शपथ ले ली है। प्रधान न्यायाधीश दीपक मिश्रा उन्हें पद एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई। वे पहली महिला वकील हैं जिन्हें शीर्ष अदालत का जज नियुक्त किया गया है। वह देश की पहली ऐसी महिला वकील हैं जो बार (वकालत) से सीधे देश की शीर्ष अदालत में न्यायाधीश नियुक्त की गई हैं। मल्होत्रा (61) का नाम उन दो लोगों में शामिल था जिन्हें सुप्रीम कोर्ट के कोलेजियम ने शीर्ष अदालत में न्यायाधीश नियुक्त करने की सिफारिश की थी। सरकार ने मल्होत्रा के नाम पर मंजूरी दी जबकि दूसरे नाम- उत्तराखंड हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के. एम.जोसेफ- को फिर से विचार के लिए कोलेजियम के पास भेज दिया।
मल्होत्रा की नियुक्ति को लेकर कल सुप्रीम कोर्ट में काफी जोर-आजमाइश हुई। शीर्ष अदालत के लगभग 100 वकीलों ने चीफ जस्टिस की पीठ के समक्ष याचिका दायर कर उनकी नियुक्ति पर रोक लगाने की मांग की। उनका कहना था कि उन्हें मल्होत्रा के नाम पर आपत्ति नहीं है, बल्कि वे चाहते हैं कि उनके साथ जस्टिस केएम जोसेफ को भी सुप्रीम कोर्ट का नियुक्त किया जाए क्योंकि कोलेजियम ने सरकार को दोनों के नाम की सिफारिश की थी। शीर्ष अदालत ने इस याचिका को अकल्पनीय करार देते हुए खारिज कर दिया।
गौरतलब है कि न्यायमूर्ति एम.फातिमा बीबी उच्चतम न्यायालय में न्यायाधीश बनने वाली पहली महिला थीं। उन्होंने शीर्ष न्यायालय के 1950 में स्थापना के 39 साल बाद नियुक्त किया गया था। इसके बाद न्यायमूर्ति सुजाता एम मनोहर, न्यायमूर्ति रूमा पाल, न्यायमूर्ति ज्ञानसुधा मिश्रा, न्यायमूर्ति रंजना प्रकाश देसाई और न्यायमूर्ति भानुमति शीर्ष न्यायालय की न्यायाधीश बनीं। न्यायमूर्ति ज्ञानसुधा मिश्रा और न्यायमूर्ति रंजना प्रकाश देसाई ने 2013 में एक नया इतिहास तब रचा जब दोनों ने पूरे दिन पूर्णत: महिला पीठ के रूप में सुनवाई की थी। कोर्ट के 67 वर्षीय इतिहास में ऐसा दूसरा अवसर तब आया जब न्यायमूर्ति देसाई एवं न्यायमूर्ति भानुमति ने इस तरह की पीठ में सुनवाई की।