बिहार
भारत- नेपाल मैत्रीपुल के नोमेन्स लैण्ड पर वीरगंज पुलिस प्रसाशन ने लगाया बोर्ड, एसएसबी के विरोध करने पर हटाया
By Deshwani | Publish Date: 7/7/2020 9:26:10 PMरक्सौल। अनिल कुमार। रक्सौल वीरंगज के बीच भारत नेपाल मैत्रीपुल के नोमेन्स लैण्ड पर वीरगंज के स्थानीय पुलिस प्रसाशन ने सीमा बोर्ड लगाने की दुस्साहस किया एसएसबी के विरोध करने पर हटाया। मैत्रीपुल पर तैनात एसएसबी के जवानों द्वारा इसका विरोध करने के बाद भी बोर्ड लगाने पर नेपाल पुलिस के अड़े होने के कारण दोनो के बीच तनाव उत्पन्न हो गया। जिसके बाद इसकी सूचना एसएसबी के वरीय अधिकारियों को एसएसबी के उक्त जवानों ने दिया। जिसके बाद एसएसबी के कमांडेन्ट श्री प्रियवर्त शर्मा के निर्देश पर एसएसबी के डीप्टी कमान्डेंट मनोज कुमार मैत्रीपुल पहूंचकर उक्त घटना की जानकारी लिया।
हालांकि उनके आने से पूर्व ही बोर्ड हटा लिया गयाथा। उक्त बोर्ड को मैत्री पुल के बीच मेंं सरिसवा नदी में लगाया जा रहा था।जिसपर नेपाल सरकार का लोगो लगा हुआ था उसके निचे गृह मंत्रालय छोटा अक्षर मे लिखा हुआ था और फिर बड़ा अक्षर में जिला पुलिस कार्यालय पर्सा वीरगंज सीमा प्रारंभ लिखा गया था। नेपाली प्रसाशन द्वारा उक्त बोर्ड को वहां लगाकर नेपाल का भूभाग वहां तक है इसको प्रमाणित करने का नाहक प्रयास किया जा रहा था। जिसे नेपाल के सशस्त्र सुरक्षा बल ने भारत के किसी अधिकारी से बात किए बिना ही जबरन लगा रहे थे। वीरगंज पुलिस प्रसाशन ने तीन रोज पूर्व भी उसी जगह पर उक्त बोर्ड लगाने का प्रयास किया था।जिसका विरोध एसएसबी ने किया तो बोर्ड नही लग पाया था। जिसके बाद मंगलवार को पुनः बोर्ड लगाने का प्रयास किया गया। इस प्रकार नेपाली पुलिस प्रसाशन का सभी सीमाओं पर इन दिनो हरकत बढ़ने से भारत नेपाल के बीच स्थापित सदियों पुराना संबंध मे दरार पड़ता दिख रहा है। दरअसल मैत्रीपुल पर उतर तरफ मालवाहक और तेल टैंकरों का लम्बा लाइन लगने से दक्षिण तरफ का क्षेत्र एसएसबी को दिखाई नही देता है।
उसी दौरान मालवाहकों का लगा लम्बा लाइन और उसका इन्ट्री के दौरान इसका लाभ उठाकर नेपाली पुलिस मैत्रीपुल के दक्षिण तरफ उक्त बोर्ड को लगाने में मशगूल होने की बात मैत्रीपुल पर तैनात एसएसबी के जवानों ने कही। मगर सुचना मिलते ही वहां पहूंच कर नेपाली पुलिस प्रसाशन को उन्होंने रोका और इसकी सुचना अपने आला अधिकारियों को दिया। इस बाबत मौके पर पहुंचे एसएसबी 47 वीं बटालियन पंटोका के डीप्टी कमान्डेंट मनोज कुमार ने बताया कि बोर्ड लगाने की सूचना मिली थी।जिसके बाद मैत्रीपुल पहूंचा तो बोर्ड नही लगा था।हमारे जवानों के विरोध पर हटा लिया गया था।