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एफएटीएफ के शिकंजे में पाक 'ग्रे लिस्ट' में हुआ शामिल, भारत ने किया स्वागत
By Deshwani | Publish Date: 30/6/2018 6:17:23 PM
एफएटीएफ के शिकंजे में पाक 'ग्रे लिस्ट' में हुआ शामिल, भारत ने किया स्वागत

नई दिल्ली। आतंकवादियों की शरणस्थली बने व उनको फंडिंग रोकने में विफल रहने पर फाइनैंशल ऐक्शन टास्क फोर्स ने इंटरनैशनल कोऑपरेशन रिव्यू ग्रुप मॉनिटरिंग के लिए पाकिस्तान को 'ग्रे लिस्ट' में डाल दिया है। एफएटीएफ के इस फैसले का भारत ने स्वागत किया है।  भारत के विदेश मंत्रालय ने आज कहा कि पाकिस्तान ने आतंकवाद की फंडिंग रोकने और ऐंटी मनी लन्ड्रिंग अभियान चलाने के लिए एफएटीएफ के स्टैंडर्ड का पालन करने का आश्वासन दिया था।

 
पाकिस्तान को खासकर संयुक्त राष्ट्र की सूची में शामिल और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रतिबंधित आतंकी संगठनों और आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई करनी थी।  विदेश मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान में हाफिज सईद जैसे अंतर्राष्ट्रीय आतंकी और जमात-उद-दावा, लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद जैसे संगठन पाकिस्तान में अभी भी सक्रिय हैं। ऐसे में पाकिस्तान अपनी प्रतिबद्धताओं को पूरा नहीं कर रहा है। भारत ने कहा कि हमें उम्मीद है कि एफएटीएफ ऐक्शन प्लान का समयबद्ध तरीके से पालन किया जाएगा।
 
विदेश मंत्रालय ने कहा कि आतंकवाद से जुड़ी वैश्विक चिंताओं को ध्यान में रखते हुए पाकिस्तान भी अपनी जमीन से आतंकी गतिविधियों को रोकने के लिए विश्वसनीय उपाय करेगा।  बता दें कि एफएटीएफ पैरिस स्थित अंतर-सरकारी संस्था है। इसका काम गैर-कानून आर्थिक मदद को रोकने के लिए नियम बनाना है। इसका गठन 1989 में किया गया था। एफएटीएफ की ग्रे या ब्लैक लिस्ट में डाले जाने पर देश को अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं से कर्ज मिलने में काफी कठिनाई आती है। ग्रे लिस्ट में जाने से पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था पर असर पड़ सकता है। इससे बहुराष्ट्रीय कंपनियों के निवेश पर भी विपरीत असर पड़ता है। 
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