पेरिस। फ्रांस की दो दिवसीय यात्रा पर पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज पेरिस में भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि भारत और फ्रांस की मैत्री अटूट है। ये मित्रता से कहीं आगे हैं। यह वर्षों पुरानी है। प्रधानमंत्री ने कहा कि ऐसा कोई वैश्विक मंच नहीं होगा जहां भारत और फ्रांस ने एक दूसरे का समर्थन न किया हो और साथ काम न किया हो। उन्होंने कहा कि हमारी दोस्ती किसी स्वार्थ पर नहीं, बल्कि लिबर्टी, इक्वलिटी और फ्रेटरनिटी के ठोस आदर्शों पर टिकी है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि जब भारत या फ्रांस को कोई उपलब्धि प्राप्त होती है तो हम एक दूसरे के लिए खुश होते हैं। भारत में फ्रांस की फुटबॉल टीम के समर्थकों की संख्या शायद जितनी फ्रांस में नहीं होगी, उससे ज्यादा भारत में होगी। पीएम मोदी के संबोधन के बीच लोग 'मोदी है तो मुमकिन है' नारे लगाते रहे।
प्रधानमंत्री मोदी के संबोधन के प्रमुख अंश
• मैं फ्रांस की सरकार, राष्ट्रपति मैक्रो और फ्रांस की जनता का मुझे आमंत्रित करने और आप सभी से मिलने का अवसर देने के लिए आभार व्यक्त करता हूं।
• ये जनादेश सिर्फ एक सरकार चलाने के लिए नहीं, बल्कि नए भारत के निर्माण के लिए है। ऐसा नया भारत जिसकी समृद्ध् सभ्यता और संस्कृति पर पूरे विश्व को गर्व हो और जो 21वीं सदी की आधुनिकता को भी लीड करे।
• भारत में पिछले पांच सालों में ढ़ेर सारे सकारात्मक बदलाव हुए हैं। इन बदलावों के केंद्र में भारत की युवा शक्ति, भारत के गांव, गरीब, किसी और नारी शक्ति इसके केंद्र बिंदु में रहे हैं।
• हमने तीन तलाक की प्रथा को खत्म किया, नये भारत में मुस्लिम महिलाओं के साथ अन्याय नहीं हो सकता।
• नये भारत में भ्रष्टाचार, भाई-भतीजावाद, जनता के धन की लूट और आतंवाद पर शिकंजा कस रहा है।
• भारत 2030 के लिए तय किए जलवायु परिवर्तन के अधिकतर लक्ष्यों को अगले डेढ़ साल में हासिल कर लेगा।